आजकल की भाग-दौड़ भरी जीवनशैली में इंसोम्निया यानि अनिद्रा एक गंभीर समस्या है। इस बीमारी में व्यक्ति थका हुआ महसूस करता है और उसे रात में नींद नहीं आती है। अनिद्रा की शिकायत तनाव या किसी स्वास्थ्य परेशानी के कारण हो सकती है। कई लोग इसके लिए स्लीपिंग पिल्स का सहारा लेते हैं लेकिन इन दवाओं का हमारे स्वास्थ्य पर नकारात्मक प्रभाव होता है। आयुर्वेद में अनिद्रा की शिकायत को दूर करने के लिए कई जड़ी-बूटियाँ बताई गई हैं। आज के इस लेख में हम आपको कुछ ऐसी आयुर्वेदिक जड़ी-बूटियों के बारे में बताने जा रहे हैं जिनसे अनिद्रा की समस्या से निपटने में मदद मिलेगी -
अश्वगंधा
नींद ना आने की समस्या में अश्वगंधा का इस्तेमाल बहुत फायदेमंद माना जाता है। अश्वगंधा शरीर में कोर्टिसोल के स्तर को कम करने में मदद करता है। इसके साथ ही यह दिमाग को शांत करता है और तनाव को भी कम करता है। इस प्रकार से यह नींद ना आने की समस्या को कम करने में मदद करता है। अनिद्रा की समस्या से निजात पाने के लिए रोजाना रात में सोने से पहले एक चम्मच अश्वगंधा गर्म दूध के साथ लें।
सर्पगंधा
सर्पगंधा एक ऐसी औषधी है जिसका इस्तेमाल साँप के काटने के इलाज के लिए किया जाता है। इसके इस्तेमाल से नींद ना आने की समस्या से भी छुटकारा मिल सकता है। यही वजह है कि सर्पगंधा का उपयोग अनिद्रा के इलाज के लिए दवाओं को बनाने में भी किया जाता है। सर्पगंधा के इस्तेमाल से अनिद्रा और तनाव को दूर करने में मदद मिलती है। इसके लिए रोजना एक चम्मच सर्पगंधा पाउडर को पानी के साथ लें।
शंखपुष्पी
शंखपुष्पी एक ऐसी जड़ी बूटी है जो अच्छी नींद लाने में रामबाण की तरह काम करती है। इसमें भरपूर मात्रा में एंटीऑक्सीडेंट, अल्कलॉइड, फ्लेवोनोइड्स और ग्लाइकोसाइड्स होते हैं जो दिमाग को शांत करते हैं। शंखपुष्पी खासतौर पर आपके तंत्रिका तंत्र को शांत करके आपकी मानसिक थकान को दूर करने में मदद करती है।
ब्राह्मी
नींद ना आने की समस्या से छुटकारा पाने के लिए ब्राह्मी एक बेहतरीन जड़ी बूटी है। यह दिमाग को शांत करती है और एकाग्रता को बढ़ाने में मदद करती है। आयुर्वेद में ब्राह्मी को ब्रेन टॉनिक माना गया है। इसके नियमित सेवन से अनिद्रा और तनाव से छुटकारा मिलता है।
जटामासी
जटामासी एक प्राकृतिक मैमोरी बूस्टर और ब्रेन टॉनिक है। यह दिमाग को शांत करती है और नर्वस सिस्टम को पोषण देती है जिससे अच्छी नींद लेने में मदद मिलती है।